दर्शन
प्रति वर्ष फाल्गुन कृष्ण पक्ष की तेरस को भगवान भोले शंकर जी व माता पार्वती जी का शुभ विवाह हुआ था। इसलिये इस दिन को महा शिवरात्रि के रूप में मनाया जाता है।
इस सुअवसर पर भगवान व्दादश ज्योतिर्लिंगेश्वर महादेव जी के मन्दिर पर आकर्षक विधुत व पुष्प सज्जा की जाती है। प्रात: भगवान का विशेष अभिषेक किया जाता है। इसके बाद सायंकाल तक पुरे मालवा क्षेत्र से हजारो की संख्या में भक्त जन पधार कर भगवान का जलाभिषेक करते है। उसके बाद भगवान को बहुत ही सुन्दर चांदी के आभूषणों से सजाया जाता है। रात्रि को महा आरती होती हें जिसमे अपार जन समूह सम्मलित होता है। पुरी रात प्रसाद का वितरण होता रहता हें तथा मन्दिर के सामने विशाल प्रांगण में प्रसिद्ध भजन गायकों की भजन संध्या होती रहती हें प्रात: आरती पश्चात् उत्सव का समापन होता है।